Wednesday, October 30, 2019

साथ... हिंदी कविता... Hindi poem... Hindi Kavita...

 



तेरे सिवा

मेरा कोई नहीं

मैं अकेली

साथ तेरा नहीं


मैं बिखरू तो

मुझे मनायेगा कौन ?

मेरे जाने के बाद

मेरे लिऐ रोएगा कौन ?


तुझे तो पता नहीं

कहाँ हूं मैं

पर मुझे तो सब

पता हैं तेरे बारें में


तू पर्वत सा अचल

मैं नदी लहराती

जुगनू की रातों में

मौसम जैसे बरसाती

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